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CBI और INTERPOL ने दिल्ली में दो दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया, Bharatpol पोर्टल के महत्व पर दिया गया जोर

केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) ने इंटरपोल (INTERPOL) के सहयोग से 24 और 25 मार्च 2025 को अपने दिल्ली मुख्यालय में एक दो दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया। इस कार्यशाला का उद्देश्य भारत की कानून प्रवर्तन एजेंसियों को इंटरपोल के रंग-कोडित नोटिस सिस्टम (INTERPOL Colour Coded Notice System) और उसकी समीक्षा प्रक्रिया के बारे में जागरूक करना था।

कार्यशाला में इंटरपोल के नोटिस और प्रसार टास्क फोर्स (Notice and Dissemination Task Force) के विशेषज्ञों के साथ-साथ CBI, NIA, ED, DRI, NCB, दिल्ली पुलिस और WCCB जैसी प्रमुख केंद्रीय एजेंसियों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया। इसके अलावा, विदेश मंत्रालय और गृह मंत्रालय के अधिकारियों, राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के पुलिस अधिकारियों ने भी कार्यशाला में शिरकत की।

INTERPOL के रंग-कोडित नोटिस सिस्टम पर चर्चा

कार्यशाला का मुख्य उद्देश्य इंटरपोल के रंग-कोडित नोटिस सिस्टम के प्रभावी अनुपालन और प्रसार (Dissemination) के बारे में भारतीय एजेंसियों को शिक्षित करना था।
इंटरपोल का रंग-कोडित नोटिस सिस्टम विभिन्न प्रकार के नोटिस जारी करता है, जैसे:

  • रेड नोटिस (Red Notice): भगोड़े अपराधियों की गिरफ्तारी या हिरासत के लिए।

  • ब्लू नोटिस (Blue Notice): व्यक्ति की पहचान, स्थान या गतिविधियों के बारे में जानकारी एकत्र करने के लिए।

  • ग्रीन नोटिस (Green Notice): अपराधियों के बारे में चेतावनी या जानकारी साझा करने के लिए।

  • येलो नोटिस (Yellow Notice): लापता व्यक्तियों का पता लगाने के लिए।

  • ब्लैक नोटिस (Black Notice): अज्ञात शव की पहचान के लिए।

  • ऑरेंज नोटिस (Orange Notice): संभावित खतरे की सूचना के लिए।

  • पर्पल नोटिस (Purple Notice): अपराध के नए तरीकों या उपकरणों के बारे में जानकारी देने के लिए।

Bharatpol पोर्टल के महत्व पर दिया गया जोर

कार्यशाला में Bharatpol पोर्टल की उपयोगिता और इसकी भूमिका पर भी विस्तार से चर्चा की गई। Bharatpol पोर्टल हाल ही में लॉन्च किया गया एक डिजिटल मंच है, जिसका उद्देश्य भारतीय कानून प्रवर्तन एजेंसियों को INTERPOL सदस्य देशों से अंतरराष्ट्रीय पुलिस सहयोग प्राप्त करने में सहायता करना है।

इस पोर्टल के माध्यम से भारतीय एजेंसियां इंटरपोल के माध्यम से विदेशी देशों को अपनी सहायता अनुरोध (Request) भेज सकती हैं। कार्यशाला में प्रतिभागियों को बताया गया कि कैसे Bharatpol पोर्टल के माध्यम से भारतीय एजेंसियां अंतरराष्ट्रीय अपराधियों की तलाश, प्रत्यर्पण (Extradition) और कानूनी सहायता में तेजी ला सकती हैं।

 अंतरराष्ट्रीय आपराधिक मामलों में सहयोग पर चर्चा

कार्यशाला में अंतरराष्ट्रीय अपराध मामलों में सहयोग की प्रक्रिया पर भी प्रकाश डाला गया। INTERPOL नोटिस सिस्टम का उपयोग करके विभिन्न देशों में फरार अपराधियों का पता लगाना, उन्हें गिरफ्तार करना और प्रत्यर्पित करना (Deportation) आसान हो जाता है।

प्रतिभागियों को इंटरपोल के कानूनी ढांचे और अनुपालन जांच प्रक्रिया (Compliance Check Mechanism) के बारे में भी जानकारी दी गई। उन्हें यह भी बताया गया कि नोटिस प्रकाशित करने से पहले इंटरपोल के कानूनी दिशा-निर्देशों का पालन करना आवश्यक होता है।

महत्वपूर्ण केस स्टडीज़ पर चर्चा

कार्यशाला में अंतरराष्ट्रीय आपराधिक मामलों की कई महत्वपूर्ण केस स्टडीज़ भी प्रस्तुत की गईं। इन केस स्टडीज़ के माध्यम से प्रतिभागियों को यह दिखाया गया कि कैसे विभिन्न देशों में इंटरपोल नोटिस के माध्यम से भगोड़े अपराधियों को पकड़ा गया और प्रत्यर्पित किया गया।

केस स्टडीज़ के माध्यम से प्रतिभागियों को यह भी सिखाया गया कि इंटरपोल नोटिस को सही ढंग से कैसे ड्राफ्ट किया जाए, ताकि किसी कानूनी या तकनीकी त्रुटि के कारण नोटिस रद्द न हो।

CBI की INTERPOL में भूमिका

कार्यशाला में यह भी बताया गया कि CBI भारत में INTERPOL की नेशनल सेंट्रल ब्यूरो (NCB) के रूप में कार्य करती है। CBI विभिन्न केंद्रीय और राज्य एजेंसियों के साथ मिलकर इंटरपोल के माध्यम से अंतरराष्ट्रीय अपराध नियंत्रण में सहयोग करती है।

CBI के ILOs (INTERPOL Liaison Officers) और UOs (Unit Officers) विभिन्न पुलिस अधीक्षक (SP), पुलिस कमिश्नर और शाखा प्रमुखों के साथ समन्वय स्थापित करते हैं, जिससे अपराधियों की पहचान, गिरफ्तारी और प्रत्यर्पण की प्रक्रिया तेज हो जाती है।

ऑनलाइन और ऑफलाइन भागीदारी

कार्यशाला में कुल 120 प्रतिभागियों ने व्यक्तिगत रूप से और 120 प्रतिभागियों ने ऑनलाइन माध्यम से भाग लिया। इस तरह, कुल 240 से अधिक प्रतिभागी इस महत्वपूर्ण कार्यशाला का हिस्सा बने।

CBI और INTERPOL द्वारा आयोजित इस कार्यशाला ने भारतीय कानून प्रवर्तन एजेंसियों को अंतरराष्ट्रीय अपराध नियंत्रण में नवीनतम तकनीकों और प्रक्रियाओं से अवगत कराया। Bharatpol पोर्टल के महत्व को रेखांकित करते हुए इस कार्यशाला में यह संदेश दिया गया कि कैसे इस पोर्टल के माध्यम से भारतीय एजेंसियां इंटरपोल के माध्यम से तेज और प्रभावी अंतरराष्ट्रीय सहयोग प्राप्त कर सकती हैं।

कार्यशाला में प्रस्तुत की गई केस स्टडीज़, कानूनी प्रक्रियाओं और INTERPOL नोटिस सिस्टम की बारीकियों ने भारतीय एजेंसियों की क्षमताओं को और मजबूत किया है, जिससे भविष्य में अंतरराष्ट्रीय अपराध नियंत्रण में उनकी भूमिका अधिक प्रभावी होगी।

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