लव मैरिज में बदला शक, हैदराबाद में पति ने पत्नी और बेटी को आग में झोंका

पति-पत्नी का संबंध जीवनभर का और बेहद स्नेहपूर्ण होता है, लेकिन कुछ लोग अपने संदेह और अविश्वास के कारण इस खूबसूरत रिश्ते को बर्बाद कर देते हैं। हाल ही में हैदराबाद से एक ऐसा ही दिल दहला देने वाला मामला सामने आया है। यहां एक पति ने अपनी पत्नी को पेट्रोल डालकर जिंदा जला दिया। इतना ही नहीं, जब उनकी बेटी ने अपनी मां को बचाने की कोशिश की, तो उसने उसे भी आग में धकेल दिया। यह घटना सुनकर किसी का भी खून खौल उठे।
संदेह के चलते पति ने किया उत्पीड़न
वैंकटेश और त्रिवेणी, जो कि नलगोंडा जिले के हुज़ुराबाद के निवासी हैं, की शादी प्यार से हुई थी। उनका एक बेटा और एक बेटी है। बावजूद इसके, वैंकटेश अपनी पत्नी पर संदेह करता रहा। उसके संदेहपूर्ण व्यवहार के कारण वह लगातार त्रिवेणी को परेशान करता रहा। इसके चलते उनके बीच अक्सर झगड़े होते रहते थे। इन झगड़ों से त्रिवेणी अपने माता-पिता के घर चली जाती थी। वैंकटेश ने अपने व्यवहार में सुधार करने का वादा करते हुए उसे हैदराबाद बुलाया और भरोसा दिलाया कि अब वह पूरी तरह बदल गया है और उसका ख्याल रखेगा।

संदेह और गुस्से ने लिया जानलेवा रूप
हैदराबाद के नल्लाकुंटा इलाके में रहने के बाद कुछ ही दिनों में वैंकटेश ने फिर से अपनी पत्नी पर संदेह करना शुरू कर दिया। इसी कारण उनका एक और विवाद हुआ, जिसमें वैंकटेश ने अपना गुस्सा काबू में न रखते हुए त्रिवेणी को पेट्रोल डालकर आग लगा दी। जब उनकी बेटी ने मां को बचाने की कोशिश की, तो उसने उसे भी आग में धकेल दिया और मौके से फरार हो गया। स्थानीय लोग महिला की चीखें सुनकर मौके पर पहुंचे और आग बुझाने के बाद त्रिवेणी और उसकी बेटी को अस्पताल ले गए। डॉक्टरों ने त्रिवेणी को मृत घोषित किया, जबकि उसकी बेटी को हल्की चोटें आईं। यह घटना 24 दिसंबर को हुई।
पुलिस ने की कार्रवाई
इस जघन्य अपराध के बाद पुलिस ने तत्काल मामले की जांच शुरू की और वैंकटेश के खिलाफ हत्या का मामला दर्ज किया। जांच के बाद आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस ने बताया कि मामले में संदेह और घरेलू विवाद के चलते यह हत्या हुई है। इस घटना ने समाज में घरेलू हिंसा और संदेह के खतरों पर एक बार फिर ध्यान खींचा है। विशेषज्ञों का मानना है कि ऐसे मामलों में परिवार और समाज को मिलकर लोगों को मानसिक स्वास्थ्य और घरेलू विवाद के समाधान के लिए मदद करनी चाहिए ताकि इस तरह की त्रासदी से बचा जा सके।
